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डॉ बाबासाहेब आंबेडकर की 129 वी जन्मदिन घर पर ही मनाई गई - अरुण बन्नाटे


गोंदिया । भारत के संविधान रचयिता एवं कायदे पंडित और अनेकों पुरस्कार से सम्मानित देश- विदेश की तथा अनगिनत डिग्रियां और अनगिनत लेखन, किताब लिखने वाले ऐसे महान नेता डॉ बाबासाहेब आंबेडकर की 129 वी जन्मदिन पर सभी लोगों ने अपने-अपने तरीके से घर पर ही मनाई गई। किसी ने रंगोली बनाकर तो किससे ने, गायन प्रस्तुत कर लेखन कर चित्रकला एवं अपने अपने तरीके से सभी लोगों ने उनके जन्मदिवस पर अभिवादन किया गया। साथ ही साथ देश में बढ़ रही कोरोना जैसी महा भयंकर बीमारियों से निजात पाने के लिए लॉगडाउन के दौरान लोग घर से ना निकलते हुए, अपने घर पर तैयारी कर सोशल डिस्टेंस का ध्यान रखते हुए सभी लोगों ने डॉक्टर बाबासाहेब आंबेडकर की 129 वी जन्मदिवस अभिवादन मनाई गई। जिसमें अनेकों अनेकों ने जिस तरीके से डीजे धुन पर नाचने गाने और भीड़ इकट्ठा करके की जाती थी आज नहीं दिखी क्योंकि किसी महापुरुषों की जयंती मनाना भीड़ इकट्ठा करके डीजे पर नाचना ही नहीं बल्कि, उनके आचरण को एक धागे में में पीरों के रखना तथा आचरण को अपने जीवन में कैसे ढालना यही लक्ष्य उनका होना चाहिए। 
          
जिस प्रकार से गायन प्रस्तुत कर तथा अनेकों लोगों ने अपने-अपने तरीके से लोगों तक अपना अपना संदेश पहुंचाया चाहे वह गायन के माध्यम से हो, चित्रकला के माध्यम से हो, रंगोली के माध्यम से हो या और अन्य माध्यम से आज सभी लोगों ने लॉक डाउन के दौरान भी अपने लोकप्रिय ऐसे महानायक डॉ बाबासाहेब आंबेडकर की जयंती जन्म दिवस अभिवादन बहुत ही अच्छे तरीके से ना शोरगुल करते है और ना ही पटाखे फोड़ के और ना ही किसी अन्य तरीके से सरल और सोपा मार्ग से अपने-अपने लोगों ने अपने-अपने घर पर ही रह कर जयंती मनाई गई।

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